Volume : VI, Issue : V, June - 2016 प्राचीन भारतीय इतिहास, संस्कृति एवं पुरातत्वशास्त्र ‘‘कच्छ की पावन भूमि पर आभीर शासकों का योगदान’’डॉ. प्रो. चन्द्रिकासिंह सी. सोमवंशी, डॉ. प्रो. अर्चना पी. उपाध्याय, Professor Madhavi Sharma By : Laxmi Book Publication Abstract : राजपूताना और गुजरात में वहाॅ कोई क्षत्रप नहीं था:- राजपूताने और गुजरात की रियासतों के सम्बन्ध में भी यही कही जा सकती है। समुद्रगुप्त के शिलालेख में पश्चिमी और पूर्वी मालवा के जिन प्रजातन्त्री समाजों की सूची दी है, उनमें आमीरों का नाम पहले आया है। Keywords : Article : Cite This Article : डॉ. प्रो. चन्द्रिकासिंह सी. सोमवंशी, डॉ. प्रो. अर्चना पी. उपाध्याय, Professor Madhavi Sharma(2016). प्राचीन भारतीय इतिहास, संस्कृति एवं पुरातत्वशास्त्र ‘‘कच्छ की पावन भूमि पर आभीर शासकों का योगदान’’. Indian Streams Research Journal, Vol. VI, Issue. V, http://isrj.org/UploadedData/8568.pdf References : - अन्धकारयुगीन भारतवर्ष का इतिहास ले. काशी प्रसाद जायसवाल, अनुवादकः रामचन्द्र वर्मा (सन् 150 ई. से 350 ई. तक). द्वितीय संस्करण सं. 2014 वि. नागरिप्रचारिणी सभा, काशी देवीप्रसाद ऐतिहासिक पुस्तकमाला-12।
- भा. अन्ध. इति. ले. काशीप्रसाद जायसवाल कृत, पृ 169.
- अन्धकारयुगीन भारतवर्ष का इतिहास ले. काशी प्रसाद जायसवाल, अनुवादकः रामचन्द्र वर्मा (सन् 150 ई. से 350 ई. तक). द्वितीय संस्करण सं. 2014 वि. नागरिप्रचारिणी सभा, काशी देवीप्रसाद ऐतिहासिक पुस्तकमाला-12।
- वही, पृ. 169.
- वही, पृ. 285.
- भा. अन्ध. इति. ले. काशीप्रसाद जायसवाल कृत, पृ 169.
- वही, पृ. 169.
- वही, पृ. 285.
- वही, पृ. 169.
- वही, पृ. 285.
- वही, पृ. 169.
- वही, पृ. 285.
- अन्धकारयुगीन भारतवर्ष का इतिहास ले. काशी प्रसाद जायसवाल, अनुवादकः रामचन्द्र वर्मा (सन् 150 ई. से 350 ई. तक). द्वितीय संस्करण सं. 2014 वि. नागरिप्रचारिणी सभा, काशी देवीप्रसाद ऐतिहासिक पुस्तकमाला-12।
- अन्धकारयुगीन भारतवर्ष का इतिहास ले. काशी प्रसाद जायसवाल, अनुवादकः रामचन्द्र वर्मा (सन् 150 ई. से 350 ई. तक). द्वितीय संस्करण सं. 2014 वि. नागरिप्रचारिणी सभा, काशी देवीप्रसाद ऐतिहासिक पुस्तकमाला-12।
- वही, पृ. 285.
- अन्धकारयुगीन भारतवर्ष का इतिहास ले. काशी प्रसाद जायसवाल, अनुवादकः रामचन्द्र वर्मा (सन् 150 ई. से 350 ई. तक). द्वितीय संस्करण सं. 2014 वि. नागरिप्रचारिणी सभा, काशी देवीप्रसाद ऐतिहासिक पुस्तकमाला-12।
- वही, पृ. 169.
- भा. अन्ध. इति. ले. काशीप्रसाद जायसवाल कृत, पृ 169.
- भा. अन्ध. इति. ले. काशीप्रसाद जायसवाल कृत, पृ 169.
- अन्धकारयुगीन भारतवर्ष का इतिहास ले. काशी प्रसाद जायसवाल, अनुवादकः रामचन्द्र वर्मा (सन् 150 ई. से 350 ई. तक). द्वितीय संस्करण सं. 2014 वि. नागरिप्रचारिणी सभा, काशी देवीप्रसाद ऐतिहासिक पुस्तकमाला-12।
- अन्धकारयुगीन भारतवर्ष का इतिहास ले. काशी प्रसाद जायसवाल, अनुवादकः रामचन्द्र वर्मा (सन् 150 ई. से 350 ई. तक). द्वितीय संस्करण सं. 2014 वि. नागरिप्रचारिणी सभा, काशी देवीप्रसाद ऐतिहासिक पुस्तकमाला-12।
- भा. अन्ध. इति. ले. काशीप्रसाद जायसवाल कृत, पृ 169.
- अन्धकारयुगीन भारतवर्ष का इतिहास ले. काशी प्रसाद जायसवाल, अनुवादकः रामचन्द्र वर्मा (सन् 150 ई. से 350 ई. तक). द्वितीय संस्करण सं. 2014 वि. नागरिप्रचारिणी सभा, काशी देवीप्रसाद ऐतिहासिक पुस्तकमाला-12।
- अन्धकारयुगीन भारतवर्ष का इतिहास ले. काशी प्रसाद जायसवाल, अनुवादकः रामचन्द्र वर्मा (सन् 150 ई. से 350 ई. तक). द्वितीय संस्करण सं. 2014 वि. नागरिप्रचारिणी सभा, काशी देवीप्रसाद ऐतिहासिक पुस्तकमाला-12।
- वही, पृ. 169.
- वही, पृ. 285.
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